Uttar Pradesh: पुलिस के लिए सिरदर्द बनीं शाइस्ता समेत ये 4 माफियाओं की पत्नी

अपराधी ज्यादा दिनों तक पुलिस की पकड़ से नहीं बच सकता, लेकिन इसे उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के चार माफियाओं की पत्नियों ने गलत साबित कर दिया है।

Sandesh Wahak Digital Desk: अपराधी ज्यादा दिनों तक पुलिस की पकड़ से नहीं बच सकता, लेकिन इसे उत्तर प्रदेश (Uttar Pradesh) के चार माफियाओं की पत्नियों ने गलत साबित कर दिया है। इन माफियाओं की पत्नियों पर मामले दर्ज हैं, लेकिन इनको पुलिस पकड़ नहीं पा रही हैं। इनको पकड़़ने के लिए पुलिस-प्रशासन ने स्पेशल टीम बना रखी हैं, लेकिन असफलता ही हाथ लग रही है।

उत्तर प्रदेश पुलिस (Uttar Pradesh Police) की वांटेड लिस्ट में सबसे पहले और सबसे बड़ा नाम शाइस्ता का ही है। उमेश पाल हत्याकांड से पहले शाइस्ता प्रयागराज से बसपा की मेयर पद की उम्मीदवार थी, लेकिन इस उमेश पाल हत्याकांड ने शाइस्ता का सबकुछ बदल कर रख दिया। शाइस्ता उमेश पाल हत्याकांड के बाद से फरारी काट रही है।

पुलिस ने दावा किया कि शाइस्ता उमेश पाल हत्याकांड की मास्टरमाइंड थी और उसने शूटरों को पैसे दिए थे। लगभग चार महीने हो गए हैं, लेकिन शाइस्ता परवीन का कोई सुराग नहीं है। शाइस्ता पर 50 हजार का इनाम भी है। पुलिस उसकी तलाश में देश के कई राज्यों और शहरों में छापे मार चुकी है, लेकिन उसे सिवाय निराशा के कुछ और हाथ नहीं लग रहा है।

अशरफ की पत्नी जैनब फातिमा

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पुलिस को चकमा देने वाली दूसरी महिला मारे गए गैंगस्टर अशरफ की पत्नी जैनब फातिमा है। जैनब भी उमेश पाल हत्याकांड के बाद से फरार है और जब उसके पति की हत्या हुई, तब भी नहीं आई। वह उमेश पाल हत्याकांड में भी आरोपी है। सूत्रों का यह भी दावा है कि दोनों एक साथ छिपी हुई हैं और आत्मसमर्पण करने के लिए सही समय का इंतजार कर रही हैं।

मुख्तार अंसारी की पत्नी अफशा अंसारी

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फरार पत्नियों में तीसरा नाम जेल में बंद मुख्तार अंसारी की पत्नी अफशा अंसारी का है। अफशा पर नौ मामले दर्ज किए गए हैं, इनमें से कुछ मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़े हुए हैं। पुलिस अंसारी बंधुओं के हर संभावित ठिकाने पर छापेमारी कर रही है लेकिन अफशा अंसारी पकड़ से बाहर है।

संजीव माहेश्वरी की पत्नी पायल माहेश्वरी

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पायल गैंगस्टर संजीव माहेश्वरी जीवा की पत्नी है, जिसकी 7 जून को कोर्ट रूम के अंदर गोली मारकर हत्या कर दी गई थी। पायल माहेश्वरी ने अपनी जान को खतरा होने का दावा करते हुए 8 जून को सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया था। सुप्रीम कोर्ट ने पायल माहेश्वरी की याचिका को तत्काल सूचीबद्ध करने से इनकार कर दिया। बता दें कि पायल पर गैंगस्टर एक्ट के तहत मामला दर्ज किया गया था। माफियाओं की फरार पत्नियों के मामले में एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने बताया कि कई टीम इनकी तलाश में सक्रिय हैं। इनकी गिरफ्तारी से कई मामलों में नई बातें सामने आना तय है।

वहीं पुलिस का कहना है कि अतीक, अशरफ और मुख्तार की पत्नियां बुर्का पहनकर चलती हैं और बुर्के में किसी भी महिला को पहचान पाना बेहद ही मुश्किल भरा काम है, जिससे उन्हें खोजने में और परेशानियों का सामना करना पड़ रहा है।

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