यूक्रेन का रूस को शांति प्रस्ताव, पीएम मोदी के कीव दौरे के बाद ज़ेलेंस्की ने उठाए अहम सवाल, रूस ने दिया जवाब

मॉस्को: प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की कीव और मॉस्को यात्रा के बाद, यूक्रेन ने रूस को पहला शांति प्रस्ताव भेजा है। राष्ट्रपति व्लादिमीर ज़ेलेंस्की ने राष्ट्रपति पुतिन के सामने शांति वार्ता का प्रस्ताव रखते हुए कुछ महत्वपूर्ण सवाल उठाए हैं। यूक्रेन ने रूस से पूछा है कि क्या उनके पूर्व शांति प्रस्ताव अब भी लागू हैं, और अगर मिन्स्क की पहल से शांति वार्ता शुरू होती है, तो रूस इसे किस तरह देखेगा?

इस पर रूसी विदेश मंत्रालय की प्रवक्ता मारिया ज़खारोवा ने कहा कि रूस हमेशा से यूक्रेन संघर्ष को कूटनीतिक तरीके से हल करने का पक्षधर रहा है। उन्होंने ज़ेलेंस्की के सवालों के जवाब में रूस की शांति की शर्तें स्पष्ट कीं। रूस का कहना है कि यूक्रेन को नाटो में शामिल होने से इनकार करना होगा, नए रूसी क्षेत्रों से यूक्रेनी सैनिकों की वापसी होनी चाहिए, और पश्चिमी प्रतिबंधों को समाप्त किया जाना चाहिए। इसके अलावा, रूस ने यूक्रेन के रूसी भाषी नागरिकों के अधिकारों की सुरक्षा की मांग भी की है।

ज़खारोवा ने यह भी बताया कि यूक्रेन के हाल के हमलों, जैसे कि कुर्स्क क्षेत्र पर आतंकवादी हमले, शांति वार्ता के रास्ते में बाधा बने हैं। उन्होंने कहा कि जब तक यूक्रेन इस तरह के हिंसक कृत्यों को अंजाम देता रहेगा, तब तक शांति वार्ता संभव नहीं है।

रूस ने बेलारूस को धन्यवाद देते हुए कहा कि उसने 2015 में और 2022 में शांति वार्ता के लिए मंच प्रदान किया था, और वह अब भी इस प्रक्रिया का समर्थन कर रहा है।

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