चीन के सैन्य अभ्यास पर ताइवान का कड़ा ऐतराज, कहा- क्षेत्रीय शांति को खतरा

Sandesh Wahak Digital Desk: ताइवान जलडमरूमध्य में चीन के हालिया सैन्य अभ्यास को लेकर ताइवान ने कड़ी प्रतिक्रिया व्यक्त की है। मंगलवार को पीपुल्स लिबरेशन आर्मी (PLA) ने ताइवान के आसपास के जल और हवाई क्षेत्र में बड़े पैमाने पर सैन्य अभ्यास किया। इस पर ताइवान की सरकार ने चीन के आक्रामक रवैये की निंदा की और इसे क्षेत्रीय शांति के लिए खतरा बताया।
ताइवान ने जताया विरोध
ताइवान के राष्ट्रपति कार्यालय ने सोशल मीडिया प्लेटफॉर्म ‘एक्स’ पर चीन की इस सैन्य गतिविधि की आलोचना करते हुए कहा, “चीन की सैन्य उकसावेबाजी ना केवल ताइवान जलडमरूमध्य की शांति को खतरे में डालती है, बल्कि पूरे क्षेत्र की स्थिरता को कमजोर करती है। हम चीन के इस आक्रामक व्यवहार की कड़ी निंदा करते हैं।”
ताइवान की सतर्क निगरानी
ताइवान के रक्षा मंत्री वेलिंगटन कू ने कहा कि इस तरह की सैन्य कार्रवाइयों से क्षेत्रीय शांति और स्थिरता पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ सकता है। उन्होंने बताया कि ताइवान ने चीन के सैन्य अभ्यास पर नजर रखने के लिए एक विशेष निगरानी दल गठित किया है।
क्या है चीन के सैन्य अभ्यास का मकसद?
चीनी समाचार एजेंसी शिन्हुआ के अनुसार, PLA के ईस्टर्न थिएटर कमान ने ताइवान के उत्तर, दक्षिण और पूर्वी जलक्षेत्र में सैन्य अभ्यास किया। इस अभ्यास का उद्देश्य ‘संयुक्त अभियान क्षमताओं का परीक्षण, परिचालन नियंत्रण मजबूत करना और सटीक हमलों की क्षमता को परखना’ बताया गया है।
चीन-ताइवान विवाद की पृष्ठभूमि
चीन ताइवान को अपनी मुख्य भूमि का हिस्सा मानता है और ताइवान की स्वतंत्रता को मान्यता नहीं देता। बीते कुछ वर्षों में चीन ने ताइवान के खिलाफ सैन्य दबाव बढ़ाया है। अमेरिका के पूर्व राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप के सत्ता में आने के बाद से यह पहला बड़ा सैन्य अभ्यास है।
क्या होगा अगला कदम?
ताइवान का कहना है कि वह अपनी संप्रभुता और सुरक्षा की रक्षा के लिए हर संभव कदम उठाएगा। वहीं, अंतरराष्ट्रीय स्तर पर भी इस सैन्य तनाव को लेकर चिंता जताई जा रही है। अब देखना होगा कि ताइवान और अन्य वैश्विक शक्तियां चीन की इस आक्रामकता के खिलाफ क्या रुख अपनाती हैं।