Rae Bareli News: हाथों से उखड़ रहीं कमीशन के तारकोल से तैयार करोड़ों की नई सड़कें

Sandesh Wahak Digital Desk: रायबरेली में रविवार को 36 करोड़ की सड़क को ग्रामीणों ने हाथ से उखाड़ दिया। यूपी में सड़कों के भ्रष्टाचार का ये पहला मामला नहीं है। कई जिलों से नई बनी सड़कों को हाथ से उखाड़ने के वीडियो वायरल हो चुके हैं।

 

CM Yogi

सीएम योगी ने अफसरों से सख्त लहजे में कहा था कि नई बनने वाली हर सड़क की 5 साल की गारंटी होनी चाहिए। इसके बावजूद सड़कों की गुणवत्ता को लेकर अफसर व इंजीनियर गंभीर नहीं हैं। सड़कों के निर्माण में अरबों का बजट खर्च हो रहा है। लेकिन अफसरों और इंजीनियरों को गुणवत्ता से ज्यादा चिंता मोटे कमीशन की रहती है।

सड़कों के भ्रष्टाचार का ये पहला मामला नहीं

इसी माह के मध्य में पीलीभीत में पीएम ग्रामीण सड़क योजना के तहत ललौटी खेड़ा में बन रही सड़क को बच्चों ने हाथों से उखाड़ दिया था। पीडब्ल्यूडी सड़क को करीब चार करोड़ की लागत से बना रहा था। डीएम की जांच में सामने आया कि ब्लैकलिस्ट ठेकेदार को सड़क निर्माण का जिम्मा थमा दिया गया था। पीलीभीत में सडक़ों के भ्रष्टाचार का ये पहला मामला नहीं है।

इससे पहले मार्च में इसी योजना के तहत बमरोली-ईटगांव की 15 करोड़ की लागत से बनाई सड़क दो माह भी नहीं चली। जुलाई में कन्नौज में मंत्री असीम अरुण के सामने ग्रामीणों ने तीन माह पहले बनी करोड़ों की सड़क को हाथ से उखाड़ दिया। सड़क पाण्डेयपुरवा से गुगरापुर सम्पर्क मार्ग तक बनी थी।

24 घंटे पहले बनी सड़क को हाथों से उखाड़ दिया

अमेठी में दो दिन पहले ग्रामीणों ने 24 घंटे पहले बनी 700 मीटर सड़क को हाथ से उखाडक़र रख दिया। कमासिन गांव के ग्रामीणों के मुताबिक आजादी के बाद पहली बार सड़कें नसीब हुई थीं। उन्नाव में जनवरी में बेथर से सैदपुर के लिए 39 लाख से बनी नई सड़क को युवक ने हाथ से उखाड़ दिया। कुशीनगर के खड्डा में भी ग्रामीणों ने अप्रैल में नई सड़क को हाथ से उखाड़ फेंका। पिछले वर्ष दिसंबर में फतेहपुर में विधायक के सामने मलवां विकासखंड में नई सड़क में भ्रष्टाचार सामने आया था। चार माह पहले कौशाम्बी के सिराथू में दो दिन पहले बनी नई सड़क को ग्रामीणों ने हाथों से खुरच दिया था।

रायबरेली में 36 करोड़ की घटिया सड़क पर ग्रामीणों का प्रदर्शन

रायबरेली में पीडब्ल्यूडी द्वारा बनाये जा रहे महराजगंज-इन्हौना मार्ग में घटिया निर्माण को लेकर रविवार को ग्रामीण बिफर पड़े। लोगों ने हाथ से सड़क उखाड़ते हुए घंटों तक नारेबाजी करते हुए प्रदर्शन करके काम बंद करा दिया। ग्रामीणों के मुताबिक सड़क छह महीने भी नहीं चलेगी। घटिया सामाग्री से निर्माण हो रहा है। महराजगंज इन्हौना मार्ग की लंबाई 17 किमी है। निर्माण करीब 36 करोड़ से पीडब्ल्यूडी करा रहा है।

लखनऊ में भी घटिया सड़कों के निर्माण से डर नहीं

लखनऊ में भी सड़कों का भ्रष्टाचार अक्सर सामने आ ही जाता है। इधर कुछ महीनों से लखनऊ में सडक़ें धंसने के कई मामलों ने सुर्खियां बटोरी हैं। पिछले वर्ष मार्च में बीकेटी से भाजपा विधायक योगेश शुक्ला का एक पत्र वायरल हुआ था। जिसमें 40 करोड़ की लागत से बनने वाली नई सड़क घटिया गुणवत्ता के कारण हाथ से उखड़ रही थी। लखनऊ में करोड़ों की लागत से नगर निगम नई सड़कें बनाता है। कुछ ही समय में घटिया गुणवत्ता से इन पर गड्ढे हो जाते हैं। फिर करोड़ों का बजट मरम्मत के नाम पर खर्च किया जाता है।

भ्रष्टाचार के चंद उदाहरण, वायरल हुए कई वीडियो

  • पीलीभीत : चंद दिनों पहले बच्चों ने हाथों से उखाड़ी नई सड़क, इससे पहले 15 करोड़ की नई सड़क की खुली थी पोल
  • कन्नौज : मंत्री असीम अरुण के सामने करोड़ों की नई सड़क हाथों से उखड़ी
  • अमेठी : दो दिन पहले 24 घंटे पहले बनी सड़क ग्रामीणों ने उखाड़ी
  • कुशीनगर : खड्डा विधानसभा में नई सड़क को ग्रामीणों ने हाथों से उखाड़ा
  • कौशाम्बी : चार माह पहले सिराथू तहसील में ग्रामीणों ने हाथ से सड़क उखाड़ी
  • उन्नाव : जनवरी में युवक ने हाथ से उखाड़ी नई सड़क

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