नेपाल ने फिर उठाया विवादित कदम, भारतीय क्षेत्रों को नए नोटों में दर्शाने की तैयारी!

काठमांडू: नेपाल के प्रधानमंत्री केपी शर्मा ओली ने एक बार फिर भारत के साथ संबंधों को बिगाड़ने वाला बड़ा कदम उठाया है। नेपाल सरकार ने भारत के साथ विवादित क्षेत्रों को अपने नए बैंक नोटों पर दिखाने का फैसला किया है, जिससे भारत-नेपाल के रिश्तों में तनाव और गहरा सकता है। सूत्रों के अनुसार, यह कदम चीन के इशारे पर उठाया जा रहा है।

नेपाल के केंद्रीय बैंक ने नये नोट छापने की प्रक्रिया शुरू कर दी है, जिसमें कालापानी, लिपुलेख और लिंपियाधुरा जैसे विवादित क्षेत्रों को नेपाल का हिस्सा बताया गया है। नेपाल राष्ट्र बैंक के संयुक्त प्रवक्ता दिल्लिराम पोखरेल ने इस बात की पुष्टि की है कि अगले छह महीने से एक साल के भीतर यह नोट छपकर तैयार हो जाएंगे।

यह कदम नेपाल के पूर्व प्रधानमंत्री पुष्प कमल दाहाल ‘प्रचंड’ के कार्यकाल में लिया गया था, जिसे अब केपी शर्मा ओली ने आगे बढ़ाने की मंजूरी दे दी है। यह पहली बार नहीं है जब ओली ने भारत विरोधी रुख अपनाया है। इससे पहले भी उनके प्रधानमंत्री रहते हुए दोनों देशों के बीच संबंधों में तनाव बढ़ा था।

भारत ने कई बार स्पष्ट किया है कि कालापानी, लिपुलेख और लिंपियाधुरा उसके अभिन्न हिस्से हैं, और नेपाल के इस कदम को पूरी तरह से अस्वीकार्य माना जा रहा है। नेपाल के इस विवादित कदम से आने वाले दिनों में दोनों देशों के संबंधों पर नकारात्मक प्रभाव पड़ सकता है।

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