आज भी जारी है NRHM घोटाले में मनी लॉन्ड्रिंग का खेल
उत्तर प्रदेश के एनआरएचएम (NRHM) घोटाले में फंसे आरोपियों ने बीते कुछ वर्षों में अपार सम्पत्तियां खरीदी हैं।
संदेशवाहक डिजिटल डेस्क/मनीष श्रीवास्तव। उत्तर प्रदेश के एनआरएचएम (NRHM) घोटाले में फंसे आरोपियों ने बीते कुछ वर्षों में अपार सम्पत्तियां खरीदी हैं। प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) इन आरोपियों पर पूरी तरह से मेहरबान है। ईडी ने आज तक एनआरएचएम घोटाले की मनी लॉन्ड्रिंग जांच के दायरे में आये बड़े रसूखदारों को मानो बख्श रखा है। तभी इनके नाम भी ईडी की चार्जशीट से गायब थे।
सबसे पहला नाम नेहरू युवा केंद्र के सह समन्वयक (Co-coordinator of Nehru Yuva Kendra) डीके सिंह का है। इसके पास से सीबीआई को करीब पांच करोड़ की रकम मिली थी। इतनी बड़ी रकम का मालिक कौन था। ये पता लगाना ईडी ने कभी जरुरी नहीं समझा। डीके सिंह यूपी के एक कद्दावर आईएएस का मोहरा था। बताया जा रहा है कि बीकेटी में सिंह के पास फार्महाउस समेत कई सम्पत्तियां हैं। जिसके असली वारिस वही कद्दावर आईएएस हैं।
ईडी की जांच से दूर दलाल गिरीश मलिक
एनआरएचएम घोटाले (NRHM Scam) में सीबीआई ने दवा के जिस दलाल गिरीश मलिक को अपना गवाह बनाकर क्लीनचिट से नवाजा। उसकी कितनी सम्पत्तियां हैं, ईडी ने ये जानना गंवारा नहीं समझा। अभी भी गिरीश मलिक करीब दो दर्जन दवा कंपनियों के लिए करोड़ों के दवा ठेके स्वास्थ्य विभाग के मेडिकल सप्लाई कार्पोरेशन से हासिल कर रहा है।
पूर्व सीएमओ पर भी मेहरबान है ईडी
इसी तरह एनआरएचएम घोटाले (NRHM Scam) में फंसे एक पूर्व सीएमओ की संपत्तियों की पड़ताल करना भी ईडी ने जरुरी नहीं समझा। कुछ समय पहले ही पूर्व सीएमओ ने परिजनों के नाम करोड़ों के बड़े प्लॉट खरीदे हैं। यहीं नहीं इस रिटायर अफसर के पास अकूत सम्पत्तियां हैं। तभी अपने घर के नजदीक आलीशान मकान भी करोड़ों रुपए देकर अब खरीद लिया है। पूर्व प्रमुख सचिव प्रदीप शुक्ला की सम्पत्तियों पर भी ईडी की नजरें तिरछी नहीं हुई।
महानगर के एक कपड़ा व्यापारी ने भी करोड़ों के ठेके हथियाये थे। इसे भी ईडी ने बख्श दिया। पूर्व मंत्री अनंत मिश्रा की सम्पत्तियों पर भी ईडी खासी मेहरबान नजर आयी। अभिनेत्री भाग्यश्री के पति के साथ मिश्रा की व्यापारिक साझेदारी बताई जाती है।
कुशवाहा ने काली कमाई के सहारे खड़ी की तमाम बेनामी सम्पत्तियां
हाल ही में पूर्व मंत्री बाबू सिंह आयकर जांच में बेनकाब हुए हैं। ईडी ने कुशवाहा की करीब दो सौ करोड़ की सम्पत्तियां जब्त की थी। इसके बावजूद कुशवाहा ने एनआरएचएम घोटाले (NRHM Scam) की काली कमाई के सहारे तमाम बेनामी सम्पत्तियां खड़ी की हैं। आयकर विभाग के हाथ ऐसी ही सौ करोड़ की दर्जन भर सम्पत्तियां हाथ लगी हैं लेकिन ईडी ने आज तक कुशवाहा से जुड़ी सभी बेनामी संपत्तियों को जब्त नहीं किया।
घूस लेते गिरफ्तार, अपने अफसर पर ईडी की मेहरबानी
2017 में एनआरएचएम घोटाले की जांच कर रहे ईडी के तत्कालीन असिस्टेंट डायरेक्टर एनबी सिंह को लाखों की रिश्वत लेने के आरोप में सीबीआई ने गिरफ्तार किया था। मेरठ के दवा व्यापारी द्वारा 21 करोड़ के घोटाले के केस में राहत देने के एवज में 50 लाख रिश्वत मांगने की शिकायत पर इन्हें सीबीआई ने साथी संग दबोचा था। इसके पास मनी लॉन्ड्रिंग से जुड़ी कई अहम जांचें थी। ईडी ने अपने अफसर के खिलाफ केस दर्ज करने की तैयारी शुरू की, फिर मामला दफन हो गया। एनबी सिंह ने मनी लांड्रिंग से जुड़ी कई अहम जांचें बेची थी। जिनकी पुन: जांच भी नहीं कराई गई। इस मामले को लेकर तत्कालीन लखनऊ सीबीआई (एसीबी) के एसपी प्रणव कुमार और सीबीआई के तत्कालीन डायरेक्टर आलोक वर्मा के बीच कहासुनी सुर्खियां भी बनी थीं।
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