कांशीराम की जयंती पर मायावती का बयान, ‘आयरन लेडी’ के रूप में किया पार्टी के कार्यों का जिक्र

Sandesh Wahak Digital Desk: उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ में शनिवार को बहुजन समाज पार्टी (बसपा) के संस्थापक कांशीराम की 91वीं जयंती धूमधाम से मनाई गई। इस अवसर पर बसपा प्रमुख मायावती ने कांशीराम के चित्र पर पुष्पार्पित कर उन्हें श्रद्धांजलि अर्पित की। मायावती ने कांशीराम के योगदान और उनके सामाजिक परिवर्तन व आर्थिक मुक्ति के आंदोलन को और मजबूत करने का संकल्प लिया।
इस दौरान, मायावती ने बहुजन समाज से अपील की कि वे गरीबी, बेरोजगारी, शोषण और जातिवाद जैसे सामाजिक मुद्दों से मुक्ति पाने के लिए अपने बहुमूल्य वोट की ताकत को समझें और सत्ता की चाबी हासिल करें। उन्होंने इसे आज का संदेश बताया और कहा कि यह बदलाव बहुजन समाज के लिए जरूरी है।
मायावती ने खुद को ‘आयरन लेडी’ बताते हुए कहा कि बसपा ने सत्ता में रहते हुए बहुजनों का सर्वांगीण विकास सुनिश्चित किया। उन्होंने यह भी कहा कि अन्य दलों के दावों की तुलना में बसपा के कार्यों का जमीनी असर अधिक स्पष्ट और प्रभावी था।
कांशीराम के जीवन पर प्रकाश डालते हुए, मायावती ने बताया कि कांशीराम का जन्म 15 मार्च 1934 को पंजाब के रूपनगर में हुआ था। उन्होंने पिछड़ा वर्ग के उत्थान और राजनीतिक लामबंदी के लिए कई संगठन बनाए, जिनमें बामसेफ (1971), दलित शोषित समाज संघर्ष समिति (1981), और बहुजन समाज पार्टी (1984) शामिल हैं। वे 1991 और 1996 में लोकसभा सदस्य चुने गए, और 1998 से 2004 तक राज्यसभा में भी कार्य किया। कांशीराम का 9 अक्टूबर 2006 को दिल्ली में निधन हो गया।
इस जयंती पर बसपा कार्यकर्ताओं ने कांशीराम के संघर्ष और समर्पण को याद करते हुए उनके मार्गदर्शन में आगे बढ़ने का संकल्प लिया।