यूपी के परिवहन आयुक्त की करोड़ों की जमीन कब्जाने का खेल, लखनऊ पुलिस ने शुरू की जांच

अखिलेश के करीबी पूर्व सपा एमएलसी उदयवीर समेत एलडीए कर्मियों के खिलाफ एफआईआर दर्ज

Sandesh Wahak Digital Desk: सैयां भये कोतवाल तो डर काहे का, इस कहावत पर एलडीए के ऐसे अफसर और कर्मी सटीक बैठते हैं। जो वर्षों से बेशकीमती भूखंडों और जमीनों के खेल के सहारे करोड़ों की मिल्कियत खड़ी कर चुके हैं।

उदयवीर सिंह

इस बार इनका शिकार खुद यूपी के परिवहन आयुक्त बने हैं। जिनके करोड़ों के भूखंड पर कब्जे का प्रयास किया गया है। ख़ास बात ये है कि पुलिस भी सात दिनों तक इस संगीन मामले को सिर्फ इसलिए दबाये रही क्योंकि आरोपों के घेरे में सपा के पूर्व एमएलसी और पूर्व सीएम अखिलेश यादव के बेहद करीबी उदयवीर सिंह भी हैं।

एलडीए की फाइल से दस्तावेज निकालने का आरोप

उदयवीर समेत एलडीए कर्मियों व अन्य के खिलाफ जमीन पर कब्जा करने की साजिश व फर्जी दस्तावेज तैयार करने की एफआईआर परिवहन आयुक्त ने गोमतीनगर थाने में दर्ज कराई है। एडीसीपी पूर्वी पकंज कुमार सिंह ने बताया कि इस मामले में एफआईआर दर्ज की गई है। जांच की जा रही है। साक्ष्यों के आधार पर कार्रवाई की जाएगी। यही नहीं एलडीए की फाइलों से भूखंड के दस्तावेज निकालने के भी आरोप हैं।

दरअसल गोमतीनगर के विनीतखंड में परिवहन आयुक्त ब्रजेश नारायण सिंह की पत्नी मीनल सिंह के नाम करोड़ों का भूखंड है। जिस पर कब्जे की मंशा से उस पर बनी चहारदीवारी तोड़ डाली गई। 97 में एलडीए से आईएएस सिंह की पत्नी को उक्त करोड़ों का भूखंड आवंटित हुआ था। दिल्ली और एनसीआर में आईएएस ब्रजेश नारायण सिंह की तैनाती होने की वजह से इस बेशकीमती जमीन पर कोई निर्माण नहीं कराया गया था।

LDA

एफआईआर हुई दर्ज

पांच महीने पहले उनके पड़ोसी ने बताया कि कुछ लोगों ने खुद को एलडीए अफसर बताकर उनकी जमीन पर बनी चहारदीवारी तोड़ दी है। अंदर लगे पेड़ों को भी काट डाला है। साथ ही भूमि को समतल कर रहे हैं। इस पर उन्होंने एलडीए से सम्पर्क किया तो उन लोगों ने ऐसी कोई भी कार्रवाई करने से इनकार कर दिया। कुछ दिन बाद वह गिरायी गई चहारदीवारी बनवाने लगे तो धनंजय सिंह नाम के व्यक्ति ने विरोध किया। 11 फरवरी को कुछ लोगों ने फिर चहारदीवारी तोड़ दी। एफआईआर के मुताबिक एलडीए के कर्मचारियों ने परिवहन आयुक्त की पत्नी के नाम जमीन के कागजात फाइल से निकाल कर आरोपितों को दिए।

उदयवीर के दिल्ली आवास पर बुना गया था ताना बाना

परिवहन आयुक्त की एफआईआर के मुताबिक सपा के पूर्व एमएलसी उदयवीर सिंह इस फर्जीवाड़े में शामिल हैं। तभी परिवहन आयुक्त ब्रजेश नारायण सिंह को धनंजय सिंह ने बताया कि इस जालसाजी की साजिश दिल्ली में सपा के पूर्व एमएलसी उदयवीर सिंह ने अपने आवास पर रची थी। इस साजिश में अविनाश सिंह भी शामिल रहा। उन लोगों से बातचीत की रिकार्डिंग उनके पास सुरक्षित है। इस रिकार्डिंग में यह बात भी है कि साजिश सपा के पूर्व एमएलसी के दिल्ली स्थित आवास पर रची गई है।

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