लोकसभा चुनाव की तैयारियों में जुटी बसपा, मायावती ने पार्टी पदाधिकारियों को दिए ये निर्देश
Sandesh Wahak Digital Desk : बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की प्रमुख मायावती ने बुधवार को कहा कि धर्मनिरपेक्षता अर्थात् किसी की उपेक्षा नहीं बल्कि सभी धर्मों का एक बराबर आदर-सम्मान भारतीय संविधान की चिर-परिचित विश्व-सराहनीय विशेषता है, जिसकी अवहेलना करके देश को प्रगति के पथ पर नहीं दौड़ाया जा सकता ।
उन्होंने कहा कि सामाजिक बुराइयों आदि की आड़ में धार्मिक उन्माद फैलाने वालों को सख्ती से सरकार को रोकना होगा।
बसपा द्वारा जारी एक बयान के मुताबिक पार्टी प्रमुख मायावती ने बुधवार को उत्तर प्रदेश में राज्यस्तरीय , मण्डलस्तरीय एवं जिलास्तरीय समितियों के वरिष्ठ पदाधिकारियों की एक अहम बैठक में प्रदेश एवं देश के बदलते राजनीतिक हालात एवं सम्बंधित ख़ास घटनाक्रमों आदि पर रणनीतिक चर्चा की और पार्टी संगठन की मज़बूती से जुड़े कार्यकलापों तथा पार्टी के जनाधार को हर स्तर पर बढ़ाने की पूरी प्रगति रिपोर्ट ली और आगे के लिए निर्देश दिये।
अवहेलना करके देश को प्रगति के पथ पर नहीं दौड़ाया जा सकता
मायावती ने कहा,’ धर्मनिरपेक्षता अर्थात् किसी की उपेक्षा नहीं सभी धर्मों का एक बराबर आदर-सम्मान भारतीय संविधान की चिर-परिचित विश्व-सराहनीय विशेषता है। जिसकी अवहेलना करके देश को प्रगति के पथ पर नहीं दौड़ाया जा सकता, खासकर वर्तमान में जब भारत को पहले से ज्यादा बड़ी एवं कठिन चुनौतियों का सामना रहा है। सभी सरकारों को इस पर ध्यान देना होगा।’
बसपा नेता ने कहा कि देश भर में जारी इसी प्रकार की संकीर्ण स्वार्थ की राजनीति का परिणाम है कि मणिपुर राज्य में भी नफरती हिंसक वारदात की आग थमने का नाम नहीं ले रही है, जिसके प्रति उचित प्रभावी कार्रवाई एवं गंभीरता जरूरी है। उन्होंने कहा कि ऐसे स्वार्थ की राजनीति से क्या देश का महंगाई, गरीबी, बेरोजगारी एवं पिछड़ेपन आदि की जटिल समस्याओं से मुक्ति प्राप्त करके आगे बढ़ पाना संभव है?
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