लखनऊ में एक दिन में सुसाइड के 3 मामले, परिवार में शोक की लहर, जांच में जुटी पुलिस

Sandesh Wahak Digital Desk: राजधानी लखनऊ में आत्महत्या के तीन अलग-अलग मामलों ने सभी को झकझोर कर रख दिया है। चिनहट, काकोरी और महानगर क्षेत्रों में छात्रों, मजदूर और एक महिला ने आत्महत्या कर ली। इन घटनाओं के पीछे पारिवारिक कलह, आर्थिक परेशानी और मानसिक तनाव की वजहें सामने आई हैं।

बीए छात्र ने की आत्महत्या

चिनहट थाना क्षेत्र के आदर्श नगर कमता में 22 वर्षीय सचिन कुमार ने फांसी लगाकर जान दे दी। सचिन मऊ जिले के चिरैयाकोट असलपुर का रहने वाला था और लखनऊ में अपने पिता अशोक कुमार के साथ किराए के मकान में रहता था। अशोक लोहिया अस्पताल में वार्ड बॉय हैं।

शुक्रवार शाम जब अशोक ड्यूटी से लौटे तो कमरे का दरवाजा अंदर से बंद था। पड़ोसियों की मदद से दरवाजा तोड़ने पर सचिन का शव पंखे से लटका मिला। सचिन बीए फाइनल ईयर का छात्र था और कुछ समय पहले होटल में काम करता था। नौकरी छूटने के बाद से वह तनाव में था। उसका मोबाइल भी गायब है, जिसकी जांच की जा रही है।

मजदूर ने जहरीला पदार्थ खाकर दी जान

काकोरी के जेहटा गांव में 38 वर्षीय मुन्ना गुप्ता ने जहरीला पदार्थ खाकर आत्महत्या कर ली। परिवार के अनुसार, शुक्रवार को शादी समारोह से लौटने के बाद मुन्ना का पत्नी पुष्पा से झगड़ा हुआ। विवाद के बाद मुन्ना ने जहरीला पदार्थ खा लिया। उन्हें अस्पताल ले जाया गया, जहां डॉक्टरों ने मृत घोषित कर दिया।

मृतक आश्रित कोटे में नौकरी न मिलने से महिला ने किया सुसाइड

महानगर के पीएसी-35 बटालियन क्वार्टर में रहने वाली शारदा देवी (46) ने फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली। उनके पति कामराज का 2017 में निधन हो गया था। बेटे विशाल के अनुसार, पिता की मौत के बाद शारदा देवी ने मृतक आश्रित कोटे में नौकरी के लिए आवेदन किया था, लेकिन नौकरी नहीं मिली। तनाव और मानसिक दबाव में उन्होंने यह कदम उठाया।

हालांकि तीनों मामलों में पुलिस ने शवों को पोस्टमॉर्टम के लिए भेज दिया है और जांच शुरू कर दी है। संबंधित परिवारों से पूछताछ की जा रही है, ताकि आत्महत्या के पीछे की वास्तविक वजहों का पता लगाया जा सके। पुलिस मोबाइल फोन और अन्य साक्ष्यों की जांच कर रही है।

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