Kannauj Rape Case: आरोपी नवाब यादव के भाई ने कोर्ट में किया सरेंडर, 25 हजार का था ईनाम
Kannauj Rape Case: उत्तर प्रदेश के कन्नौज जिले में एक नाबालिग किशोरी से बलात्कार के मामले में आरोपी पूर्व ब्लॉक प्रमुख नवाब सिंह यादव के भाई नीलू यादव ने मंगलवार की सुबह अदालत में आत्मसमर्पण कर दिया। पुलिस ने नीलू पर 25 हजार का इनाम घोषित किया था। वह काफी दिनों से फरार चल रहा था।
सदर क्षेत्राधिकारी कमलेश कुमार ने बताया कि पुलिस दुष्कर्म के मामले में नीलू यादव की गिरफ्तारी के लिए जगह-जगह दबिश दे रही थी और उसने मंगलवार को अदालत में आत्मसमर्पण कर दिया।
नवाब सिंह यादव की पैरवी कर रहे अधिवक्ता राकेश कुमार तिवारी ने बताया कि नीलू यादव सुबह करीब साढ़े आठ बजे अदालत परिसर में पहुंचा। नाबालिग किशोरी से दुष्कर्म मामले में पुलिस नवाब सिंह यादव और पीड़िता की बुआ पूजा तोमर को पहले ही गिरफ्तार कर चुकी है।
पुलिस ने नीलू यादव पर पूजा तोमर को बयान बदलने और मामले की विवेचना को प्रभावित करने की आरोप लगाया है। इससे पहले, कन्नौज जिले में 15 वर्षीय लड़की से बलात्कार के आरोप में गिरफ्तार पूर्व ब्लॉक प्रमुख नवाब सिंह यादव के डीएनए नमूने का मिलान घटनास्थल से एकत्र किये गए नमूने से सोमवार को हो गया था।
नाबालिग लड़की के साथ बलात्कार करने का आरोप
नवाब सिंह यादव एक निजी शिक्षण संस्थान का प्रबंधन करता था और उस पर नौकरी दिलाने के बहाने नाबालिग लड़की के साथ बलात्कार करने का आरोप है। पुलिस क्षेत्राधिकारी (कन्नौज सदर) कमलेश कुमार ने सोमवार को बताया था कि यादव के डीएनए नमूने का मिलान मामले में एकत्र किये गए डीएनए नमूने से हो गया है।
पुलिस अधीक्षक अमित कुमार आनंद ने कहा था कि डीएनए जांच रिपोर्ट में बलात्कार की पुष्टि के बाद अदालत में जल्द ही आरोप पत्र दाखिल किया जायेगा। आनंद ने पहले कहा था कि पीड़िता की उसके अभिभावकों की सहमति से एक मेडिकल जांच की गई जिसमें बलात्कार की पुष्टि हुई। पुलिस ने इस मामले में नाबालिग पीड़िता की बुआ को नवाब सिंह यादव की मदद करने के आरोप में गिरफ्तार किया था।
नवाब सिंह पर 11/12 अगस्त की दरम्यानी रात को नौकरी देने के बहाने लड़की को अपने कॉलेज बुलाकर उससे बलात्कार करने का आरोप है। इस मामले में पीड़िता ने रात को ही फोन करके पुलिस को बुलाया था जिसने यादव को गिरफ्तार कर लिया था।
इस घटना को लेकर राजनीतिक विवाद उत्पन्न हो गया है। उत्तर प्रदेश में सत्तारूढ़ भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) ने विपक्षी समाजवादी पार्टी पर हमला करते हुए यादव के समाजवादी पार्टी से संबंध होने का आरोप लगाया है। हालांकि, सपा ने आरोपी से खुद को अलग करते हुए कहा कि वह उसका सदस्य नहीं है और पिछले कुछ सालों से ‘पार्टी विरोधी गतिविधियों’ में शामिल है।
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