69000 शिक्षक भर्ती के अभ्यर्थियों का लखनऊ में प्रदर्शन, डिप्टी सीएम केशव मौर्या के आवास का किया घेराव
Sandesh Wahak Digital Desk : 69000 शिक्षक भर्ती में आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों का धरना लगातार जारी हैं। डिप्टी सीएम के सरकारी आवास पर तड़के सुबह 69000 शिक्षक भर्ती मामले में अभ्यर्थियों ने प्रदर्शन किया। अभ्यर्थी सड़क पर ही लेट गए।
इलाहाबाद हाईकोर्ट की लखनऊ खंडपीठ के आदेश को तत्काल पालन करने की मांग कर रहे हैं। उनका आरोप हैं कि हाईकोर्ट के फैसले के बाद भी उनकी सुनवाई नही हो रही हैं। उनकी मांग है कि कोर्ट के आदेश के अनुसार नई सूची जल्द जारी की जाए।
प्रदर्शन कर रहे अभ्यर्थियों के कहा कि अधिकारियों कि बेसिक शिक्षा विभाग के अधिकारियों की लापरवाही का नतीजा है कि हाईकोर्ट के निर्णय को 10 दिन होने को हैं, बावजूद इसके अभी तक फैसले का पालन नही किया गया। जबकि खुद मुख्यमंत्री ने इसको लेकर निर्देश जारी कर चुके हैं। अब जब मामला सुप्रीम कोर्ट में जाएगा तो एक बार फिर से आरक्षित वर्ग के अभ्यर्थियों को न्याय के लिए इंतजार करना पड़ सकता हैं।
640 दिनों तक धरना दिया
इससे पहले भी 69000 शिक्षक भर्ती के इन अभ्यर्थियों ने लंबे समय तक लखनऊ में धरना दिया था। अभ्यर्थियों ने तमाम नेताओं के घरों का भी घेराव किया था। तब इन अभ्यर्थियों ने पिछड़ों और दलितों के आरक्षण पर नेताओं की चुप्पी पर सवाल खड़े किए थे। मार्च 2022 से ही आरक्षित वर्ग के इन अभ्यर्थियों का लगातार धरना और प्रदर्शन लखनऊ में चला। लखनऊ के ईको गार्डन में धरना देने के साथ मुख्यमंत्री, उपमुख्यमंत्री समेत बड़ी संख्या में मंत्रियों के आवास पर भी कई बार प्रदर्शन कर चुके थे।
अभ्यर्थियों आरोप था कि 69 हजार शिक्षक भर्ती में आरक्षण के नियमों की अनदेखी हुई हैं। अभ्यर्थियों का कहना था कि इस बात को सरकार ने भी माना हैं। बावजूद इसके इस वर्ग के सभी मंत्री और नेता भी इस मामले में चुप्पी साधे हुए हैं। और चयनित होने के बावजूद इन्हें नियुक्ति नही मिल रही। बाद में हाईकोर्ट की डबल बेंच ने इनके पक्ष में निर्णय सुनाया था।
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