SCO सम्मेलन: पीएम मोदी ने आतंकवाद के खिलाफ कठोर कदम उठाने पर दिया जोर

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शंघाई सहयोग संगठन (एससीओ) के अस्ताना में हो रहे सम्मेलन में आतंकवाद के खिलाफ कड़ा संदेश दिया है। उन्होंने कहा कि आतंकवाद को किसी भी रूप में सही नहीं ठहराया जा सकता और अंतरराष्ट्रीय जगत को आतंकवाद को पोषित करने वाले देशों को अलग-थलग कर देना चाहिए।

विदेश मंत्री एस जयशंकर ने पीएम मोदी की ओर से यह संदेश दिया और कहा कि आतंकवाद से लड़ाई एससीओ की प्राथमिकता होनी चाहिए। पीएम मोदी ने स्पष्ट किया कि शंघाई सहयोग संगठन एक सिद्धांत आधारित संगठन है और इसके सदस्य देश आपसी सहमति से चलते हैं। उन्होंने यह भी कहा कि सभी सदस्य देशों को एक-दूसरे की संप्रभुता, आजादी और क्षेत्रीय एकरूपता का सम्मान करना चाहिए और एक-दूसरे के अंदरूनी मामलों में दखल नहीं देना चाहिए।

प्रधानमंत्री ने आतंकवाद को पोषित करने वाले देशों के खिलाफ कड़ी कार्रवाई की मांग की और कहा कि आतंकवाद वैश्विक और क्षेत्रीय शांति के लिए बड़ा खतरा बन सकता है। सीमापार आतंकवाद, आतंकवाद को वित्तपोषण और नए लोगों की भर्ती के खिलाफ निर्णायक लड़ाई लड़ने की जरूरत है। उन्होंने अंतरराष्ट्रीय समुदाय से आतंकवाद का पोषण करने वाले देशों को बेनकाब करने और युवाओं में कट्टरपंथ फैलने से रोकने के लिए कदम उठाने का आह्वान किया।

इसके साथ ही, प्रधानमंत्री ने जलवायु परिवर्तन पर भी चिंता जाहिर की और कार्बन उत्सर्जन को कम करने की दिशा में काम करने की आवश्यकता बताई। उन्होंने कजाखस्तान की अध्यक्षता में भारत के एससीओ सदस्य बनने की याद दिलाते हुए कहा कि एससीओ का भारत की विदेश नीति में अहम स्थान है। पीएम मोदी ने एससीओ सम्मेलन में शामिल होने के लिए ईरान को बधाई दी और बेलारूस के राष्ट्रपति एलेक्जेंडर लुकाशेंको का भी नए सदस्य के रूप में स्वागत किया।

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