डिजिटल लोन ऐप्स पर लगेगा बैन, मिल रही शिकायतों के बाद सरकार का फैसला

Sandesh Wahak Digital Desk :  डिजिटल लोन एप को लेकर लगातार मिल रही शिकायतों के बाद सरकार ऐसे एप्स को चिंहित कर रही है। इसके साथ ही लोगों से ऊंचा ब्याज वसूलने वाले एप्स को बंद करने की तैयारी में है।

केंद्र सरकार का उद्देश्य ऐसे लोगों की रक्षा करना है जो इनसे पैसा उधार लेते हैं। यही नहीं इनके रिकवरी एजेंट पैसा न चुकाने की दशा में ग्राहकों के साथ बुरा बर्ताव करते हैं। यही नहीं सिबिल खराब तक करने की धमकी देते हैं। जिससे कई लोग तो आत्महत्या तक के लिए मजबूर हो जाते हैं।

आपको बता दें कि सरकार पहले अनधिकृत एप पर बैन लगा चुकी है। अब ऐसे एप्स पर बैन लगाने की तैयारी में हैं। जो ग्राहकों को लाखों का चूना लगा देते हैं। ताकि कोई भी इनके चुंगल में ही न फंसे। दरअसल RBI को थर्ड पार्टी सर्विस प्रोवाइडर्स को रेगुलेट करने की मंजूरी भी दे सकती है।

ऊंचा ब्याज वसूलने वालों से राहत मिल सके

रिजर्व बैंक ऑफ इंडिया ने भी कई मौकों पर डिजिटल लोन प्रोवाइजर्स (Loan Providers) से सावधान रहने की अपील की है। इसके लिए RBI ने अपने कंट्रोल में कर्जदाताओं के लिए एक रेगुलेटरी फ्रेमवर्क तैयार किया है। ताकि लोगों को इन ऊंचा ब्याज वसूलने वालों से राहत मिल सके।

सोशल मीडिया पर तमाम तरह के लोन एप्स हैं। जिनपर जरूरी जानकारी फिल करते ही आपके खाते में पैसा पहुंच जाता है। जिसके बाद ABFC कंपनियों का खेल शुरू होता है। यदि किसी वजह से ऋण लेने वाला समय से पैसा नहीं चुका पाता है। तो काफी चार्ज लगाए जाते हैं।

जबकि RBI की गाइडलाइन है कि किसी भी करदाता के बदसलूकी नहीं की जा सकती है। बता दें कि 6 अक्टूबर को आरबीआई गवर्नर शक्तिकांत दास ने बताया था कि कुछ दिन पहले ही पर्सनल लोन के कुछ सेगमेंट में हाई ग्रोथ के आंकड़ों को पहचान लिया था।

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